नई दिल्ली : कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने रविवार को कहा कि वह इस निष्कर्ष पर पहुंचे हैं कि संसद ‘निष्क्रिय’ हो गई है। चिदंबरम ने आरोप लगाया कि संस्थानों को नियंत्रित, कमजोर किया जा रहा है या उन पर कब्जा कर लिया गया है।
अमित शाह की टिप्पणियों को किया खारिज
चिदंबरम ने एक इंटरव्यू के दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की उन टिप्पणियों को खारिज किया, जिनमें उन्होंने बढ़ती महंगाई के खिलाफ कांग्रेस के प्रदर्शन को ‘राम मंदिर की नींव रखे जाने के दिन’ से जोड़ा था। उन्होंने कहा कि जब प्रदर्शन की तारीख तय की गई, उस समय ‘शिलान्यास’ की वर्षगांठ की बात तो ‘दिमाग में दूर-दूर तक नहीं थी।’
चिदंबरम ने कहा कि यह तारीख इस बात को ध्यान में रखकर तय की गई थी कि शनिवार को उपराष्ट्रपति पद के चुनाव के लिए मतदान होने के कारण दिल्ली में सभी सांसद मौजूद होंगे। उन्होंने कहा कि तर्क को तोड़ने-मरोड़ने के लिए कोई भी व्यक्ति किसी पर भी दोषारोपण कर सकता है। उन्होंने कहा कि इसके अलावा, पांच अगस्त, 2019 को ही जम्मू-कश्मीर को अवैध रूप से विभाजित किया गया था।
कांग्रेस के विरोध पर भड़के योगी-शाह ने बताया था तुष्टिकरण की नीति
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बढ़ती महंगाई, बेरोजगारी और वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) में बढ़ोतरी के मुद्दों को लेकर कांग्रेस द्वारा काले कपड़े पहनकर किए गए प्रदर्शन को पार्टी की ‘तुष्टीकरण’ की नीति बताया था। केंद्रीय मंत्री ने कहा था कि कांग्रेस ने 5 अगस्त, 2020 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा राम मंदिर की आधारशिला रखे जाने का विरोध करने के लिए यह प्रदर्शन किया।