रिसॉर्ट की रिसेप्शनिस्ट युवती का शव शनिवार को नहर से बरामद। मुख्‍य आरोपी का रिसॉर्ट ध्‍वस्‍त। भाई की ओबीसी आयोग से छुट्टी। पिता भाजपा से निष्‍कासित। सीएम धामी ने जांच एसआईटी को सौंपी। आक्रोशित लोगों ने मुख्‍य आरोपी की फैक्टरी में आग लगाई।

देहरादून। एक बेटी की हत्‍या से देवभूम‍ि उत्तराखंड में जनआक्रोश है। पौड़ी गढ़वाल जिले में एक रिसॉर्ट में काम करने वाली रिसेप्शनिस्ट 19 वर्षीय युवती अंकिता भंडारी को नहर में धक्‍का देकर मार दिया गया। मुख्‍य आरोपी रिसॉर्ट मालिक निकला, जो भाजपा नेता डॉ. विनोद आर्य का बेटा है। उसने अपने दो सहयोगियों के साथ नहर के पास लेजाकर अंकिता को मार डाला। वजह यह कि बेटी ने रिसॉर्ट में आने वालों से संबंध बनाने से इन्‍कार कर दिया था। लापता होने के सातवें दिन शनिवार को सुबह‍ पुलिस ने नहर से अंकिता का शव बरामद कर लिया। इसके बाद जनआक्रोश उमड़ पड़ा।

अंकिता का फाइल फोटो

उत्तराखंड में लोग अंकिता के हत्‍यारों को फांसी की मांग कर रहे हैं। मुख्‍यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी ने सख्‍त एक्‍शन लेते हुए मुख्‍य आरोपी के रिसॉर्ट को ध्‍वस्‍त करा दिया। जांच के लिए एसआईटी गठित कर दी गई है। वहीं, प्रदेश सरकार ने मुख्‍य आरोपित पुलकित आर्य के भाई अंकित आर्य को राज्‍य अन्‍य पिछड़ा वर्ग आयोग के उपाध्‍यक्ष पद से शनिवार को हटा दिया। भाजपा ने भी अंकित और उसके पिता डॉ. विनोद आर्य को भाजपा से निष्‍कासित कर दिया। अंकिता हत्‍याकांड में पुलिस तीन आरोपितों को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है लेकिन लोगों का गुस्‍सा थम नहीं रहा है। भड़के लोगों ने एक एम्‍स पहुंचीं एक महिला विधायक की गाड़ी में पथराव कर दिया। वहीं, रिसॉर्ट के पास स्थित मुख्‍य आरोपी की फैक्टरी में आग लगा दी।

जेसीबी से ध्‍वस्‍त कराया रिसॉर्ट

अंकिता भंडारी का शव शनिवार को सुबह पुलिस ने चीला नदी से बरामद कर लिया। इस हत्‍याकांड को लेकर मुख्‍यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी बेहद सख्‍त दिखे हैं। उनके निर्देश पर शुक्रवार देर रात मुख्‍य आरोपित भाजपा नेता डॉ. विनोद आर्य के बेटे पुलकित आर्य के वनंतरा रिजॉर्ट को जेसीबी से ध्वस्त करा दिया गया।
बता दें क‍ि यह रिजॉर्ट अंकिता की हत्या के मुख्य आरोपी भाजपा नेता डॉ. विनोद आर्य के बेटे पुलकित आर्य का है। उच्च स्तर से आदेश के बाद प्रशासन की टीम शुक्रवार देर रात जेसीबी लेकर मौके पर पहुंच गई और रिजॉर्ट को जेसीबी से ढहा दिया गया। गौरतलब है क‍ि अंकिता भंडारी इसी रिजॉर्ट में काम करती थी और वह यहां से लापता हो गई थी। उत्तराखंड के इतिहास में पहली बार अवैध निर्माण के खिलाफ इतनी त्वरित कार्रवाई हुई है। सरकारी मशीनरी के अनुसार, आरोपित का रिजॉर्ट अवैध रूप से बनाया गया था। धामी सरकार अब निर्माण से जुड़े अफसरों के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की तैयारी कर रही है। किन अफसरों की शह पर यह अवैध रिजॉर्ट तैयार हुआ, उन्हें चिन्हित किया जा रहा है।

उत्तराखंड में लोगों में गुस्‍सा, आरोपितों को फांसी की मांग

शनिवार को सुबह अंकिता भंडारी का शव चीला शक्‍ति नहर में मिलने के बाद उत्तराखंड में लोगों का गुस्सा दिखाई दिया। आक्रोशित लोगों ने जगह-जगह सड़कों पर प्रदर्शन किया और हत्‍या आरोपितों को फांसी देने की मांग कर रहे हैं। एम्स ऋषिकेश, जहां अंकिता का शव पोस्टमार्टम के लिए लाया गया, वहां एम्स के बाहर लोगों की भारी भीड़ उमड़ पड़ी। यमकेश्वर विधायक रेणु बिष्ट एम्स पहुंचीं तो गुस्साई भीड़ ने उनकी गाड़ी के शीशे तोड़ डाले। लोगों के विरोध के चलते विधायक थोड़ी ही देर में एम्‍स से निकल गईं। वहीं, गुस्साए लोगों ने आरोपति पुलकित आर्य की फैक्टरी में आग भी लगा दी, जो वनंतरा रिजॉर्ट के पीछे बनी हुई थी। लोगों ने रिजॉर्ट में भी आगे लगाने की कोशिश की।

आक्रोशित लोगों ने आरोपितों को पीटा और कपड़े भी फाड़ दिए

बता दें क‍ि आक्रोशित लोगों ने शुक्रवार को ऋषिकेश थाना भी घेर लिया था। यहां पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। बाद पुलिस जब आरोपियों को कोर्ट में पेश करने के लिए ले जा रही थी, तो आक्रोशित लोगों ने चीला-हरिद्वार मार्ग पर वाहन को रोक लिया और आरोपियों की पिटाई कर दी। उन्होंने वाहन पर ईंट-पत्थर भी फेंगे। आक्रोशित महिलाएं पुलिस के वाहन के आगे खड़ी हो गईं। पुलिस को हल्का बल प्रयोग भी करना पड़ा। इसके आद आरोपियों को कोर्ट ले जाया गया।

मुख्‍यमंत्री ने एसआईटी जांच के दिए आदेश

मुख्‍यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी ने अंकिता हत्‍याकांड के एसआईटी जांच के आदेश दे दिए हैं। मुख्यमंत्री ने पुलिस उपमहानिरीक्षक पी. रेणुका देवी के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया है और इस गंभीर मामले की गहराई से त्वरित जांच के भी आदेश दे दिए हैं।

अंकिता का शव बरामद होने के बाद मुख्यमंत्री पुष्‍कर सिंह धामी ने शनिवार को ट्वीट लिखा- “आज सुबह बेटी अंकिता का पार्थिव शव बरामद कर लिया गया। इस हृदय विदारक घटना से मन अत्यंत व्यथित है।” धामी ने कहा- “हमारा संकल्प है कि इस जघन्य अपराध के दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।”

मुख्‍य आरोपी के भाई को अन्‍य पिछड़ा वर्ग आयोग के उपाध्‍यक्ष पद से हटाया

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर अंकिता की हत्‍या के मुख्‍य आरोपति पुलकित आर्य के भाई अंकित आर्य को प्रदेश सरकार ने उत्तराखंड अन्य पिछड़ा वर्ग आयोग के उपाध्यक्ष पद से हटा दिया है। इसका आदेश शनिवार को दोपहर प्रमुख सचिव एल फैनई ने जारी कर दिया। वहीं, अंकित आर्य और उसके पिता डॉ. विनोद आर्य को भाजपा से निष्कासित कर दिया गया। यह निष्‍कासन प्रदेश भाजपा अध्‍यक्ष महेश भट्ट ने किया है। निष्‍कासन का पत्र शनिवार को दोपहर भाजपा के प्रदेश महामंत्री राजेंद्र सिंह बिष्‍ट ने जारी किया।

रिजॉर्ट में आने वाले ग्राहकों से संबंध बनाने का दबाव बनाते थे, नहीं मानी तो कर दी हत्‍या

मुख्‍य आरोपित पुलकित आर्य

बता दें क‍ि 19 वर्षीय अंकिता भंडारी जनपद पौड़ी गढ़वाल के यमकेश्वर ब्लॉक क्षेत्र के गंगा भोगपुर स्थित वनंतरा रिसॉर्ट में रिसेप्शनिस्ट का काम करती थी। यह रिसॉर्ट भाजपा नेता डॉ. विनोद आर्य के बेटे पुलकित आर्य का है। अंकिता भंडारी 18 सितंबर को अचानक रिजॉर्ट से लापता हो गई थी। वह पौड़ी के डोभ श्रीकोट की रहने वाली थी। दो दिन तक काफी तलाशने के बाद परिजनों ने 21 सितंबर को राजस्व पुलिस में अंकिता की गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई थी।
पुलिस ने छानबीन की। रिजॉर्ट के कर्मचारियों से पूछताछ की तो जानकारी मिली क‍ि अंकिता 18 सितंबर को रात करीब आठ बजे रिजॉर्ट के मालिक पुलकित आर्य, मैनेजर अंकित और भाष्कर के साथ रिजॉर्ट से गई थी। ये तीनों तो करीब साढ़े 10 बजे रिजॉर्ट में लौटे लेकिन अंकिता उनके साथ नहीं थी। पुलिस ने तीनों को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो अंकिता की हत्‍या का राज खुल गया।
पुलिस के अनुसार, तीनों आरोपितों ने पूछताछ में बताया कि वे अंकिता पर रिजॉर्ट में आने वाले ग्राहकों से संबंध बनाने का दबाव बनाते थे, लेकिन अंकिता इसके लिए तैयार नहीं हुई और वह बार-बार रिजॉर्ट की हकीकत सबके सामने लाने की धमकी दे रही थी। इस बात को लेकर उनमें विवाद चल रहा था। घटना वाले दिन तीनों अंकिता को बहाने से चीला बैराज के पास ले गए। वहां पर उन्होंने शराब भी पी। आरोपितों ने पुलिस को बताया कि नहर के पास अंकिता और पुलकित में झगड़ा हुआ। अंकिता ने गुस्‍से में आकर का पुलकित का मोबाइल छीनकर नहर में फेंक दिया। इस पर पुलकित ने अंकिता को नहर में धक्का दे दिया। अंकिता डूबने लगी और वह बार-बार खुद को बचाने की गुहार लगा रही थी लेकिन उन्‍होंने उसे नहीं बचाया, बल्‍क‍ि वहां से चले आए और अंकिता नहर में डूब गई।

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